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मकर संक्रांति के व्यंजन क्यूंकि सर्दी के मौसम में खाये जाते हैं, इसलिए इस मौके पर देवताओं को भी तिल, गजक और गुड़ से बने लड्डू का प्रसाद चढ़ाया जाता है।
बचपन से ही हम सभी भाई-बहन संक्रांति का इंतजार किया करते थे, क्योंकि उस दिन, हमारी मां हमें उबटन से नहलाती, तरह-तरह के लड्डु बनाकर, पूजा करती और हमको खिलाती थीं। हम सभी छत में जाकर पतंग उड़ाया करते थे। हमारे साथी जो साउथ इंडियन परिवारों से थे, वे पोंगल मनाया करते थे। मराठी परिवारों मे हल्दी-कुमकुम का आयोजन किया जाता है। आज भी वही परम्परा बनी हुई है, हम अब भी आपस में मिलजुल कर यह त्यौहार मनाते हैं।
जनवरी को मनाया जाने वाला, मकर संक्रांत का त्योहार पूरे देश में अलग-अलग तरह से मनाया जाता है। इसे माघ महीने में मनाया जाता है। जो भारत का सबसे ठंडा समय माना जाता है। ऐसे में शरीर को अंदर से गर्म रखने के लिए तिल, चावल, उड़द की दाल और गुड़ खाया जाता है। मकर संक्रांति में इनके सेवन का यह वैज्ञानिक आधार है।
इसका सामाजिक आधार ये है, कि इसी वक्त ये फसलें तैयार होती है, इन फसलों को घर लाने पर सबसे पहले सूर्य देवता को अर्पित किया जाता है। मकर संक्रांति, सर्दी के मौसम में मनाई जाती है, इसलिए इस मौके पर देवताओं को तिल, गजक और गुड़ से बने लड्डू का प्रसाद चढ़ाया जाता है। साथ ही इस दौरान लगभग पूरे भारत में दही-चूड़ा खाने की भी परंपरा है।
इस साल भी संक्रांति में हम लोग कई तरह के लड्डू, चिक्की, चूड़ा, खिचड़ी बनायेंगे। पहले डायरियों में व्यंजनों की रेसिपी लिखा करते थे पर अब हर चीज़ की ऑनलाइन लिंक उप्लब्ध है।
चलिए, देखतें हैं कुछ मकर संक्रांति के व्यंजन :
तिल से बने खाने गर्मी और ऊर्जा दोनों देते हैं। तिल और गुड़ को मिलाकर बनाये गये लड्डू मकर संक्रांति पर हमारे घर में ज़रूर बनते हैं। तिल गुड लड्डू को तिलकुट भी कहा जाता है। ये लड्डू बनाने में आसान हैं और खाने में बहुत ही मज़ेदार। इनकी रेसिपी के लिए इस लिंक को देखें
तिल गुड़ से बनी इस पट्टी को ना सिर्फ बनाना आसान है ये खाने में भी बेहद स्वादिष्ट और कुरकुरी होती है। पर ध्यान रहे की इनको ज़्यादा मात्रा न खाएं क्यूँकि इसकी सामग्री गर्म तासीर की होती है। और ज़्यादा ना सोचते हुए, इसकी विधि यहां पाएं।
मेरे पसंदीदा नारियल के लड्डू ऐसे हैं कि एक पर तो रुका ही नहीं जाता। मेरी ही तरह मेरे बच्चे भी इनके दीवाने हैं। इनकी आसान और हमेशा परफेक्ट बनने वाली रेसिपी है इस ब्लॉग में
मकर संक्रांति का त्यौहार खिचड़ी के बिना तो अधूरा ही रहता है। मुझे याद है, बच्चपन में मुझे कई घरों से खिचड़ी खाने का न्यौता भी आता था। अगर आपको मूंग दाल की खिचड़ी ना पसंद हो तो आप किसी भी और दाल के साथ इसका आनंद उठा सकते हैं। गर्म-गर्म खिचड़ी पर ढेर सा घी, पापड़ और रायता या दही-भल्ले हों साथ तो बस जन्नत ही जन्नत। संक्रांति की खिचड़ी की एक नई रेसिपी यहां से पाएं।
इस तरह मकर संक्रांति के व्यंजन बनाए जाते हैं, कुछ नमकीन तो कुछ मीठे, मगर कुल मिलाकर पूरे भारत में ही इस त्यौहार का बड़ा महत्व है।
भारत किसानों का देश है। यहां फसलों के पकने और उसके पकवानों को भगवान को चढ़ाकर फिर उत्सव मनाने का चलन है ।
आप सभी मकर संक्रांति के व्यंजनों की इन रेसिपी को ज़रूर आज़माएं। ये स्वादिष्ट होने के साथ-साथ पौष्टिक भी हैं। और हाँ जो ज़्यादा खा लें तो थोड़ी पतंगबाज़ी करके ख़ुद को हल्का ज़रूर कर लें!
आप सभी को संक्रांति की अग्रिम बधाई।
मूल चित्र : Wikimedia Commons / Canva
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