कोरोना वायरस के प्रकोप में, हम औरतें कैसे, इस मुश्किल का सामना करते हुए भी, एक दूसरे का समर्थन कर सकती हैं?  जानने के लिए चेक करें हमारी स्पेशल फीड!

हां! मैंने खुद से मुहब्बत करना सीख लिया है…

हां! आज एक फूल खुद के लिए लिया है! हां! मैंने खुद से ही मुहब्बत करना सीख लिया है! हाँ! मैंने जीना सीख लिया है!...और आपने? 

हां! आज एक फूल खुद के लिए लिया है! हां! मैंने खुद से ही मुहब्बत करना सीख लिया है! हाँ! मैंने जीना सीख लिया है!…और आपने? 

आज;
एक  दिन;
और जी रही हूं,
हां! मैं खुद से;
मुहब्बत करना सीख रही हूं।

आज;
एक फूल;
खुद के लिए लिया है,
हां ! मैंने खुद से ही;
मुहब्बत करना सीख लिया है।

आज;
वक्त से;
थोड़ा वक्त मांग लिया है;
हां! मैंने शायद जिंदगी को;
जीना सीख लिया है।

मूल चित्र : Canva 

विमेन्सवेब एक खुला मंच है, जो विविध विचारों को प्रकाशित करता है। इस लेख में प्रकट किये गए विचार लेखक के व्यक्तिगत विचार हैं जो ज़रुरी नहीं की इस मंच की सोच को प्रतिबिम्बित करते हो।यदि आपके संपूरक या भिन्न विचार हों  तो आप भी विमेन्स वेब के लिए लिख सकते हैं।

About the Author

Anchal Aashish

A mother, reader and just started as a blogger read more...

36 Posts | 103,289 Views
All Categories