कोरोना वायरस के प्रकोप में, हम औरतें कैसे, इस मुश्किल का सामना करते हुए भी, एक दूसरे का समर्थन कर सकती हैं? जानने के लिए चेक करें हमारी स्पेशल फीड!
तुम शक्ति हो ये बात छुपाई जाती है। पहले देवी बनाते हैं समाज वाले फिर उसकी औकात बताई जाती है। तुम पराया 'धन' हो, बस ये बात बताई जाती है।
तुम शक्ति हो ये बात छुपाई जाती है। पहले देवी बनाते हैं समाज वाले फिर उसकी औकात बताई जाती है। तुम पराया ‘धन’ हो, बस ये बात बताई जाती है।
लड़कियाँ ‘लक्ष्मी’ ही क्यूँ, सरस्वती क्यूं नहीं कहलाती है, घर में लक्ष्मी आई है, ये रट ही क्यूं लगाई जाती है। विद्या कला सरगम से पूर्ण सरस्वती क्यूँ नहीं बनाई जाती है तुम पराया ‘धन’ हो, बस ये बात बताई जाती है।
तुम शक्ति हो ये बात छुपाई जाती है। पहले देवी बनाते हैं समाज वाले फिर उसकी औकात बताई जाती है।
तुम बेटी हो, तुम्हारी ये मर्यादा है, तुम बहू हो, तुम्हारी आवाज़ बहुत ज्यादा है। अपने लिए जिए तो स्वार्थी हो जाती है, लड़कियाँ जैसे जन्मती हैं, वैसे ही मर जाती हैं।
मूल चित्र : Discon via Unsplash
read more...
Please enter your email address