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हम तो ये सोच के लाए थे कि पढ़ी लिखी है और घरेलू भी? घर का खयाल रखेगी। पर ये तो कुछ ज्यादा ही उड़ रही है! अभी से इन मैडम के इतने नखरे?
“अरे जीजी ये क्या आफत मेरे गले बांध दी है आप लोगों ने? जब देखो तब मायके से ससुराल की तुलना करती रहती है, मेरे मायके में कोई बहू घूंघट नहीं करती है, भाई-भाभी के बीच में हमारे यहां कोई नहीं बोलता, भाभियों को भी घर की हर बात बताई जाती है और न जाने क्या क्या? बेटियों और बहू को नौकरी करने की पूरी आज़ादी है, संयुक्त परिवार है फिर भी कभी किसी के बीच कोई मनमुटाव नहीं, थोड़ी बहुत खनक तो हर घर में होती है, वगैरा वगैरा…”, दीपेश ने शोर मचाया।
“अच्छा! हम तो ये सोच के लाए थे कि पढ़ी लिखी है और घरेलू भी? मां बाबूजी की सेवा करेगी। घर का खयाल रखेगी। पर ये तो कुछ ज्यादा ही उड़ रही है! अभी से इन मैडम के इतने नखरे? मैं तो कहती हूं दीपू अभी से इसके पर काट दे नहीं तो सिर पर ही चढ़ जाएगी तेरे”, सुनैना, दीपेश की बहन ने कहा।
दोनों बहन भाई नई बहू की बुराइयां कर ही रहे थे कि पीछे से शिवाली यानि दीपेश की पत्नी आकर उनकी बातें सुन लेती है और भाव भीनी आवाज़ में बस इतना बोलती है, “दीपेश मेरे लिए ये घर नया है। हमारी अरेंज मैरिज हुई है। न तुम मेरे और मेरे परिवार के बारे में ज्यादा जानते हो और न ही मैं तुम्हारे परिवार के बारे में, इसलिए मैंने सोचा कि एक दूसरे को अगर जानना है तो थोड़ा तुम मुझे अपने परिवार के बारे में बताओ और थोड़ा मैं तुम्हें अपने परिवार के बारे में बताऊँगी और यही सोचकर मैंने शुरुआत की। पर लगता है तुम्हें अच्छा नहीं लगा दीपेश।
हां मैं पढ़ी लिखी हूं और आगे चलकर नौकरी भी करना चाहूंगी। पर इसके लिए मुझे आपके प्यार, मम्मी-पापाजी और पूरे परिवार का आशीर्वाद चाहिए होगा और सबका दिल भी जीतना होगा। पर इसके लिए आपको ही मेरी मदद करनी होगी, क्योंकि ससुराल में एक लड़की के लिए अगर सबसे ज्यादा अपना कोई होता है तो उसका जीवनसाथी।”
शिवाली की बातें सुनकर दीपेश को लगा कि उसने बहुत जल्दी ही शिवाली को लेकर फैसला कर लिया और फिर अपनी हरकत से सबक लेकर दीपेश शिवाली को धीरे-धीरे समझने लगा। इधर शिवाली भी ससुराल के तौर तरीकों को अपनाने लगी।
अरेंज हो या लव मैरिज, जीवन भर का साथ निभाने के लिए एक दूसरे को मान-सम्मान और एक दूसरे के तौर तरीकों को अपनाकर ही इस गठबंधन में आगे बढ़ा जाता है।
बस एडजस्ट करने के लिए थोड़ा वक़्त जरूर मिलना चाहिए लड़की को, क्योंकि नए घर के तौर तरीके सीखने और अपने पूरे जीवन की यादों को पिटारे में बंद करने में वक़्त तो लगता ही है।
मूल चित्र : Fat Camera from Getty Images Signature Canva Pro
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