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मेरे शब्द और मेरे जज़्बात मुझे दे जाओ तुम्हारे जाने के बाद अब गिरवी है मेरे जज़्बात…

ले लो मेरी ख़ामोशी और मेरे पास छोड़ जाओ, मेरे शब्द! किसीअजनबी के पास, गिरवी से लगते हैं, सब!

लो मेरी ख़ामोशी और मेरे पास छोड़ जाओ, मेरे शब्द! किसीअजनबी के पास, गिरवी से लगते हैं, सब!

मेरे कहे शब्द,
अपने अनकहे सच,
मेरे पास छोड़ जाओ!

मेरे बहे आँसू,
और अपनी बेरुख़ी,
मेरे पास छोड़ जाओ!

हर वह नीम याद,
जो हमारे ज़हन में है।
और मेरी ख़ुद्दारी को,
जो चीर जाती है।
मेरे पास छोड़ जाओ!

ले लो, मेरी ख़ामोशी।
और मेरे पास छोड़ जाओ,
मेरे शब्द!
किसी अजनबी के पास,
गिरवी से लगते हैं सब!

मूल चित्र: Canva

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