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स्वरा को ये बात बहुत अंदर तक चुभी। आदित्य ऐसी सोच वाला होगा ये उसने कभी नहीं सोचा था। किसी औरत के पहनावे से उसके छेड़ने ना छेड़ने का क्या मतलब।
साफ-साफ बात पति ने कह दिया था लेकिन इस बार मैं भी सोच चुकी थी कि अब बस अब मैं और नहीं बर्दाश्त करुँगी! आखिर गलती क्या थी मेरी?
लगभग एक साल बाद सुहानी के लिये संदीप का रिश्ता आया और पहली मुलाक़ात में ही सुहानी को संदीप और उसका परिवार बहुत अच्छे लगे।
शिवांगी के अनुसार जब उनकी शादी तय हुई तो परीक्षा के डेट्स नहीं आये थे और जब आये तो शादी और परीक्षा के डेट टकरा गए।
"मैं सबसे कहना चाहती हूँ मुझे डायन और चुड़ैल कहना बंद कीजिए! मैं जिंदा इंसान हैं और किसी भी अप्रत्याशित घटना के लिए मुझे दोषी मत ठहराइए।"
"बहू आयेगी तो सब ठीक हो जायेगा!" ऐसा सोच कर बहुत देखभाल कर निर्मला जी बहु के रूप में रूचि को पसंद कर घर ले आयीं।
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